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शनिवार, 23 मार्च 2024

नील लगे न पिचकरी, #रंग चोखा आये ,

 


नील लगे न #पिचकरी, #रंग चोखा आये ,

कीचड का गड्डा देखकर , उसमें दियो डुबाये .

 

ऊंट पर टांग धरन की , फितरत में श्रीमान ,

मुंह के बल गिर गये , कटा बैठे नाक और जुबान .

 

अच्छी रील के  फेर  में , रियल  बनाये मजाक ,

बनाबटी  काम सब कर  रहे , छोड़ कर असली काज .    

 

बुरा न मानो बोल के , होली की हुडदंगी जात ,

तोड़फोड़ और गालियाँ  से , मन की निकाले भड़ास .

 

लोढ़त पोढ़त  दिन गयो , गयो न मदहोशी का फेर .

मधु मुन्नका मिठाई संग , ज्यों  सेवन किये रहे ढेर .


होली मनाये की खुशी में, नशा इतना लिया चढ़ा ,

रंग में भंग पड़ाये के , खुशियां की होली लिया जला .


होली की ढेरों ढेर शुभकामनायें एवं बधाइयाँ . 

17 टिप्‍पणियां:

  1. आपकी लिखी रचना "पांच लिंकों के आनन्द में" सोमवार 25 मार्च 2024 को लिंक की जाएगी ....  http://halchalwith5links.blogspot.in पर आप भी आइएगा ... धन्यवाद! !

    जवाब देंहटाएं
    उत्तर
    1. आदरणीय यशोदा मेम,
      मेरी लिखी रचना को "पांच लिंकों के आनन्द में" सम्मिलित करने हेतु बहुत धन्यवाद एवम आभार , सादर ।

      हटाएं
  2. सुंदर प्रस्तुति।
    होली की हार्दिक शुभकामनाएं 🎉

    जवाब देंहटाएं
    उत्तर
    1. बहुत धन्यवाद आदरणीय मेम , आपको भी शुभ और मंगलमय होली ।

      हटाएं

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